
पटना | बिहार में आगामी विधानसभा चुनाव से पहले सियासी माहौल गर्माता जा रहा है। राष्ट्रीय जनता दल (राजद) द्वारा निकाली गई ‘परिवर्तन यात्रा’ को प्रदेश भर में जबरदस्त जनसमर्थन मिल रहा है। यात्रा का नेतृत्व पार्टी नेता और पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव कर रहे हैं, जो लगातार जिलों का दौरा कर रहे हैं और जनता से संवाद स्थापित कर रहे हैं।
बुधवार को परिवर्तन यात्रा पश्चिम चंपारण, पूर्वी चंपारण और मुजफ्फरपुर पहुंची, जहां हजारों की संख्या में लोगों ने तेजस्वी का स्वागत किया। जनसभाओं में उमड़ी भीड़ ने साबित किया कि राज्य में सत्ता परिवर्तन की हवा चल पड़ी है।
तेजस्वी यादव ने अपने संबोधन में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और केंद्र की भाजपा सरकार पर तीखे हमले किए। उन्होंने कहा,
“बिहार की जनता अब बदलाव चाहती है। नीतीश सरकार ने सिर्फ जुमले दिए हैं, विकास नहीं किया। भाजपा सिर्फ हिंदू-मुसलमान करने में लगी है, जबकि बेरोजगारी, महंगाई, और अपराध चरम पर हैं।”
तेजस्वी ने दोहराया कि अगर उनकी सरकार बनी तो 10 लाख सरकारी नौकरियों की घोषणा तत्काल प्रभाव से लागू की जाएगी। इसके साथ ही जातीय जनगणना के आधार पर योजनाएं बनाई जाएंगी, जिससे हर वर्ग को बराबर का हक मिल सके।
उन्होंने कहा कि राजद की परिवर्तन यात्रा महज सत्ता बदलने की नहीं, बल्कि सोच बदलने की शुरुआत है। तेजस्वी ने जनता से वादा किया कि राजद सरकार बनने पर शिक्षा, स्वास्थ्य और कृषि क्षेत्र में ठोस सुधार होंगे।
यात्रा में राजद विधायक, जिला अध्यक्ष और पार्टी के तमाम नेता शामिल हैं। हर जिले में तेजस्वी युवाओं, महिलाओं और किसानों से सीधे संवाद कर रहे हैं, जिससे पार्टी को ज़मीनी स्तर पर मजबूती मिल रही है।
राजनीतिक विश्लेषकों के मुताबिक, राजद की यह यात्रा राज्य की राजनीति में नई ऊर्जा ला रही है और चुनावी समीकरणों को प्रभावित कर सकती है। वहीं, सत्ताधारी गठबंधन इसे “जनता को भ्रमित करने की कोशिश” बता रहा है, लेकिन राजद की बढ़ती सक्रियता से अंदरूनी तौर पर चिंतित भी दिख रहा है।